बर्ड फ्लू से हुई थी 150 कौआ की मौत, जांच में हुआ खुलासा, दहशत का माहौल, प्रशासन हुआ एलर्ट
*कैंम्प लगाकर 40 लोगों की स्क्रीनिंग नही मिला कोई भी संदिग्ध मरीज*
शहडोल
जिले के झीक बिजुरी क्षेत्र के मैरटोला करौदी में बीते कुछ दिनों से लगातार हो रही कौओं की मौत के मामले का खुलासा हो गया है। पशु एवं डेयरी विभाग द्वारा राज्य स्तर पर कराई गई जांच के बाद इसका कारण बर्ड फ्लू (एच 5 एन 1 ) बीमारी का होना सामने आया है। इसके बाद एहतियात के तौर पर जिले का स्वास्थ्य अमला सतर्क हो गया है।
इसकी जानकारी जिले के स्वास्थ्य विभाग तक पहुंची तो तत्काल ही इसके लिए एक चिकित्सीय टीम का गठन कर उसे प्रभावित क्षेत्र झींक बिजुरी के लिए रवाना कर दिया है। तीन सदस्यीय चिकित्सीय टीम में जिला महामारी नियंत्रण अधिकारी डॉक्टर एसडी कंवर, जिला महामारी विशेषज्ञ डॉक्टर अंशुमन सोनारे, डॉक्टर सचिन कार्खुर के अलावा स्वास्थ्य विभाग के मोहम्मद अशरफ शामिल हैं।
उक्त टीम द्वारा झींक बिजुरी के बिजुरी टोला समेत अन्य मोहल्ले में कैम्प लगाकर अब स्थानीय ग्रामीणों की स्क्रीनिंग की जा रही है। यह सब कुछ एहतियात के तौर पर इसलिए किया जा रहा है कि कहीं कौओं के अंदर हुई इस बीमारी का फैलाव इंसानों तक तो किसी माध्यम से नहीं हुआ है। क्योंकि ऐसी बीमारी सामान्यतः पक्षियों में होती है। मुर्गा-मुर्गियों में भी इस बीमारी का प्रभाव होता है। इसलिए स्वास्थ्य अमला सजगता के साथ स्क्रीनिंग कार्य में लग गया है। साथ ही ग्रामीणों को बताया जा रहा है अगर कभी किसी इंसान के अंदर उक्त बीमारी का कोई असर होता है तो उसे लक्षण के जरिए आसानी से पहचाना जा सकता है। इससे प्रभावित व्यक्ति को बुखार, खांसी, गले व शरीर में दर्द होता है। सीएमएचओ डॉक्टर मिश्रा ने कहा कि लेकिन इससे घबराने की कोई जरूरत नहीं है। इससे मानव शरीर में कोई गंभीर अथवा घातक प्रभाव नहीं पड़ता है। विदित हो कि जिले के झींक बिजुरी समेत आसपास के गांवों में बीते कुछ समय से अचानक कौओं की मौत का सिलसिला शुरू हो गया था ,जो अब भी जारी है। इसके बाद स्थानीय निवासियों में हड़कंप मच गया था। अब तक लगभग डेढ़ सौ से अधिक कौओं के मरने की जानकारी सामने आई है।
जानकारी सामने आने के बाद पशु चिकित्सा विभाग का अमला गांव पहुचा और मृत कौओं का सैम्पल जांच के लिए भोपाल भेजा था, जहां से राज्य स्तर पर आई जांच रिपोर्ट से कौओं की मौत का कारण बर्ड फ्लू (एच 5 एन 1 ) होना सामने आया है। इस संबंध में जन शासन स्तर से जिले के स्वास्थ्य विभाग में पत्र आया तो स्वास्थ्य अमला सतर्क हो गया। तत्काल ही सीएमएचओ ने टीम का गठन कर उक्त गांव की ओर रवाना किया ताकि उक्त क्षेत्र में निवासरत ग्रामीणों की स्क्रीनिंग कर उनके स्वास्थ्य का परीक्षण कर उन्हें सतर्क किया जा सके। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉक्टर राजेश मिश्रा ने बताया कि हमें जानकारी मिलने के बाद हमने टीम का गठन किया है। जो लगातार कैंप लगाकर लोगों की स्क्रीनिंग कर रही है। 40 लोगों की स्क्रीनिंग की है। कोई भी मरीज संदिग्ध नहीं मिला है।