सतगुरु पब्लिक स्कूल की पूर्व छात्रा सिमरन साहू ने यूपीएससी में रचा इतिहास  

शहडोल

सतगुरु पब्लिक स्कूल की पूर्व छात्रा सिमरन साहू ने भारत की सर्वश्रेष्ठ सिविल सर्विस परीक्षा यूपीएससी में चयनित होकर समूचे शहडोल संभाग का नाम रोशन किया है। वे शहडोल जिले से यूपीएससी में चयनित होने वाली पहली छात्रा हैं । सिमरन की इस सफलता से शहडोल संभाग के अन्य प्रतियोगी छात्र - छात्राओं को प्रेरणा मिलेगी । शहडोल के वार्ड 19  निवासी


शरद साहू की सुपुत्री सिमरन की विद्यालयीन शिक्षा सतगुरु पब्लिक स्कूल ,शहडोल से हुई। उन्होंने यहाँ कक्षा 1 से 12 तक की परीक्षा उत्तीर्ण की। सतगुरु स्कूल से कक्षा 10 और 12 टाप करने के बाद उन्होंने पंं शंभूनाथ शुक्ला विश्वविद्यालय शहडोल से बी. ए. की डिग्री गोल्ड मैडल के साथ प्राप्त किया। वे बचपन से अत्यंत मेधावी रही हैं।

पंजाबी गुरुद्वारा के पास रहने वाली सिमरन ने बैचलर डिग्री के साथ सिविल सर्विस की तैयारी प्रारंभ की। उन्होंने घर पर रह कर  कडे अनुशासन, धैर्य, नियमित 7-8 घंटे अध्ययन और लगन के साथ मेहनत करके 2025 यूपीएससी परीक्षा में 568 वीं रैंक प्राप्त करके परिवार और समाज का नाम रोशन किया। उन्होंने सिविल सर्विसेस परीक्षा की तैयारी घर पर ही की। किसी कोचिंग संस्थान की कोई मदद नहीं ली। उन्होंने घर पर कड़ी मेहनत करके यू ट्यूब की सहायता से तैयारी की और सफलता हासिल की। शहडोल कलेक्टर डॉ. केदार सिंह ने व अनुविभागीय अधिकारी राजस्व (आई. ए.एस.) अरविंद शाह के साथ सतगुरु पब्लिक स्कूल परिवार ने सिमरन को यूपीएससी परीक्षा में चयन होने सिमरन साहू को बधाई दी।

भूसा भरे ट्रैक्टर पलटने से चालक की मौत, दो अन्य गंभीर घायल, अस्पताल में भर्ती


शहडोल 

जिले के सीधी थाना क्षेत्र में ट्रैक्टर के पलटने से चालक की दर्दनाक मौत हो गई, जबकि दो अन्य लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। यह हादसा तड़के करीब चार बजे हुआ, जब ट्रैक्टर बनसुकली से भूसा खाली कर सीधी लौट रहा था। घटना के बाद स्थानीय राहगीरों ने पुलिस और एंबुलेंस को सूचना दी, जिसके बाद घायलों को अस्पताल पहुंचाया गया। सीधी थाना प्रभारी राजकुमार मिश्रा ने बताया कि  ट्रैक्टर अनियंत्रित होकर अचानक सड़क पर पलट गया। हादसे में चालक सुनील सिंह गोंड (25) निवासी दादर ट्रैक्टर के नीचे दब गए थे। टीम ने घटनास्थल पर पहुंचने के बाद चालक के शव को इंजन के नीचे से बाहर निकाला। वहीं, दो घायलों को एंबुलेंस के माध्यम से नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया है, जहां उनका उपचार चल रहा है। चालक की मौके पर ही मौत हो गई, जिससे परिजनों में मातम छा गया। चालक के पिता छपन सिंह ने बताया कि हमने कभी नहीं सोचा था कि हमारा बेटा इस तरह हमें छोड़कर चला जाएगा।  

पुलिस ने बताया कि ट्रैक्टर सीधी के दादर गांव का है। चालक सुनील ही वाहन का मालिक था, जो अपने दो अन्य साथियों के साथ बनसुकली से भूसा अनलोड कर वापस गांव लौट रहा था। इस दौरान सीधी-ब्यौहारी मार्ग पर हादसा हो गया। अनियंत्रित होकर ट्रैक्टर सड़क के बीचों-बीच पलट गया। इंजन के नीचे दबे रहने से चालक ने मौके पर ही दम तोड़ दिया। राहगीरों ने घटना की जानकारी पुलिस और एंबुलेंस को दी, तो 108 एंबुलेंस मौके पर पहुंची और घायलों को उपचार के लिए नजदीकी अस्पताल में भर्ती करवाया गया। वहीं, पुलिस ने स्थानीय लोगों की मदद से चालक के शव को इंजन से बाहर निकालकर पीएम के लिए। पुलिस ने मामले में मर्ग कायम कर जांच शुरू कर दी है।

भालूखोदरा के जंगल में ठहरे तीनों हाथी, 37 दिनों में 100 से ज्यादा मकान , खेत, बाड़ी का कर चुके हैं नुकसान

*प्रशासन की टीम लगातार कर रही है निगरानी*


अनूपपुर

दो अलग-अलग समूह में अनूपपुर जिले में छत्तीसगढ़ की सीमा को पर कर 37 दिन पूर्व आए तीन हाथी अब तक 100 से अधिक मकानो खेत,बांड़ियो में रखें तथा लगे विभिन्न तरह के अनाजों को अपना आहार बनाया हैं, हालांकि राहत की बात यह है कि अब तक इन प्रवासी हाथियों के द्वारा किसी भी तरह की जनघायल, जनहानि की स्थिति निर्मित नहीं की है,वही वनविभाग का अमला पुलिस,विद्युत विभाग,ग्राम पंचायत के पदाधिकारियों,गामीणो के साथ हाथियों पर निरंतर निगरानी कर रहा है आज शुक्रवार के दिन यह तीनों हाथी वन परिक्षेत्र राजेंद्रग्राम के बेनीबारी बीट अंतर्गत भालूखोदरा गांव के बैगानटोला से लगे जंगल में पहुंचकर विश्राम कर रहे हैं।

तीन हाथियों से एक हाथी 20 मार्च तथा दो नए प्रवासी हाथी 29 मार्च को छत्तीसगढ़ राज्य की सीमा से लगे मरवाही इलाके को पार करते हुए अनूपपुर जिले में प्रवेश कर अलग-अलग विचरण करते हुए 5 अप्रैल से तीनों हाथी आपस में मिलकर निरंतर आज 37 वें दिन जिले के जैतहरी,अनूपपुर क्षेत्र में विचरण करते हुए विगत 5 दिनों से राजेंद्रग्राम इलाके के अंचलों में पहुंचकर निरंतर विचरण करते हुए अब तक लगभग 100 से अधिक ग्रामीणों के घरों में तोड़फोड़ कर खेत एवं बाडियों में लगे तथा रखे विभिन्न तरह के अनाजों को अपना आहार बना चुके हैं गुरुवार के दिन तीनों हाथी करनपठार वन बीट के क्योटार गांव से लगे जंगल में दिनभर विश्राम करने बाद देर शाम एवं रात को जंगल से निकल कर क्योटार,लीलाटोला गांव से पार करते हुए हिरनाछापर,दर्रापानी गांव में शंकर पिता अगरिया बैगा के घर का दरवाजा तोड कर,चरन पिता चैता बैगा के घर में तोड़फोड़ कर मक्का की फसल आहार बनाते हुए शुक्रवार की सुबह चिरईपानी से बेनीबारी वन बीट अंतर्गत ग्राम पंचायत रौषरखार के भालूखोदरा गांव के बैगानटोला से लगे जंगल में पहुंचकर विश्राम कर रहे हैं जो देर रात होने पर किस ओर विचरण करेंगे यह देर रात होने पर ही पता चल सकेगा तीनों हाथियों के निरंतर विचरण करने पर वनविभाग द्वारा ग्रामीणो एवं हाथियों की सुरक्षा के उद्देश्य गस्ती दल बनाकर निरंतर निगरानी करते हुए ग्रामीणों को सचेत एवं सतर्क करते चले आ रहे हैं जिस कारण एक माह से अधिक समय होने के बाद भी हाथियों से अब तक किसी भी तरह की जनघायल एवं जनहानि की स्थिति निर्मित नहीं हो सकी है हला कि ग्रामीणो के नजदीक पहुंचने पर बीच-बीच में तीनों हाथियों द्वारा आपकी सुरक्षा को देखते हुए जोर जोर से चिंघाडते एवं दौडाते रहते हैं हाथियों के निरंतर विचरण से हाथियों के द्वारा किए जा रहे नुकसान पर जिला प्रशासन एवं वनविभाग के निर्देश पर मैदानी अधिकारियों एवं कर्मचारियों द्वारा संयुक्त रूप से सर्वे कर नुकसानी का प्रकरण तैयार कर राहत राशि प्रदान किये जाने की कार्यवाही की जा रही है।

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