नवनिर्मित पार्किंग के गड्ढे में अज्ञात व्यक्ति की अर्धनग्न सिर कुचली मिली लाश, पुलिस जांच में जुटी

*मौके पर एडीजी एवं एएसपी ने लिया जायजा, ₹30000 इनाम की घोषणा*


अनूपपुर

अनूपपुर। जिला मुख्यालय अनूपपुर रेलवे स्टेशन के बाहर जीआरपी चौकी के पीछे एक अज्ञात व्यक्ति का शव सिर कुचली अर्धनग्न अवस्था में सुबह लोगो ने देखा जिसकी पहचान नहीं हो सकी है। मौके पर पुलिस और रेलवे पुलिस पहुंची हैं किन्तु विवाद कि स्थिति बनी हैं। रेल क्षेत्र में पडे शव को जीआरपी पुलिस ने यह कहते हुए शव उठाने की कार्यवाई नहीं कर कि यह क्षेत्र नगर पुलिस का हैं। वहीं नगर पुलिस का कहना हैं कि यह क्षेत्र रेल पुलिस के अंतगर्त आता हैं। अतिरिक्त पुलिस अधिक्षक शिवकुमार सिंह ने बताया कि कोतवाली पुलिस कार्यवाई कर रहीं हैं। वहीं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ने इस पूरे प्रकरण ₹30,000 के इनाम की घोषणा की है।

जानकारी के अनुसार अनूपपुर रेलवे स्टेशन में अमृत भारत योजना के तहत नये रेलवे स्टेशन का निर्माण हो रहा हैं। जहां पार्किंग स्थल के लिए कार्य किया जा रहा हैं। वहीं नींव के लिए खेदे गये गड्ढे में एक व्यक्ति का शव लोगों ने देख जीआरपी पुलिस एवं स्थानिय पुलिस को सूचना दी। मिला है। मृतक व्यक्ति के सिर को पत्थर से कुचला गया है। जिसके कारण उसके चेहरे की पहचान नहीं हो पा रही हैं। वहीं अज्ञात व्यक्ति का शव अर्धनग्न अवस्था में भी पड़ा था। जिसकी सूचना रेलवे पुलिस प्रशासन को दी गई। मौके पर पहुंची रेलवे पुलिस ने इसकी सूचना कोतवाली अनूपपुर को दिए जाने पर कोतवाली पुलिस ने इसे रेल पुलिस के अंतगर्त बताते हुए कार्यवाई करने से मना कर रहीं थी। मौके पर अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक शहडोल डीसी सागर, अतिरिक्त पुलिस अधिक्षक शिवकुमार सिंह ने मौका निरिक्षण किया। दोनों पुलिस प्रशासन मौके पर मौजूद है और मामले की जांच कर रहीं हैं। अतिरिक्त पुलिस अधिक्षक शिवकुमार सिंह ने बताया कि शव मिलने की सूचना पर मौके पर अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक शहडोल के साथ पहुंच कर शव उठाने की कार्यवाई कोतवाली पुलिस कर रहीं हैं। पहली नजर में हत्या का मामला दिखाई देता हैं। जांच के बाद ही स्थिति स्पष्ट हो पाएगीं।

अवैध शराब बिक्री पर रोक लगाने भाजपा मंडल अध्यक्ष ने थाना प्रभारी को लिखा पत्र


अनुपपुर

नई सरकार के गठन के पश्चात प्रदेश के मुख्यमंत्री ने पहला निर्णय प्रदेश में अवैध कार्यों पर प्रतिबंध लगाने का लिया था किंतु स्थानी शराब ठेकेदार द्वारा शासन के आदेशों को दरकिनार कर क्षेत्र में अवैध रूप से शराब की पैकारी करवाई जाती रही आलम यह है की की शराब ठेकेदार के गुर्गे दिन में ही खुलेआम रूप से जगह-जगह शराब पहुंचते हैं जिन्हें स्थानी प्रशासन का अभय दान भी मिला हुआ है। जिसे लेकर भाजपा युवा मोर्चा के बैनर तले भाजपा नेताओं ने थाना प्रभारी रामनगर को आवेदन देकर क्षेत्र में तत्काल अवैध पैकारी पर रोक लगाने की मांग की है

जनप्रतिनिधियों ने थाना प्रभारी को दिए आवेदन में लिखा है कि नगर परिषद वनगंवा अंतर्गत जगह-जगह अवैध रूप से शराब की बिक्री शराब ठेकेदार द्वारा कराई जाती है जिससे महिला एवं बच्चों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। तो क्षेत्र में अपराधी गतिविधियां भी बढ़ रही हैं। और मुख्यमंत्री महोदय का सख्त आदेश की मध्य प्रदेश में अवैध रूप से शराब की पैकारी बंद कराई जाए जिसको देखते हुए क्षेत्र में अवैध शराब की पैकारी पर तत्काल प्रतिबंध लगाया जाए।

गौर तलब हो की इसके पूर्व भी स्थानीय प्रतिनिधियों द्वारा थाना प्रभारी रामनगर को अवैध शराब की पैकारी बंद करने का वेतन दिया था फिर भी स्थानीय शराब ठेकेदार पर इसका कोई असर नहीं पड़ा। उसके बाद फिर से स्थानीय नेताओं ने पुलिस प्रशासन को दोबारा आवेदन अवैध शराब बिक्री पर रोक की मांग की है।

स्वसहायता समूह के संचालक फर्जी मस्टररोल भर कर रहे है आहरण,  जांच की हुई मांग


अनूपपुर

अनूपपुर जैतहरी ग्राम मौहरी में नर्सरी निर्माण कार्य की स्वीकृति मनरेगा योजना से वर्ष 2020-21 मे की गई। जिसकी स्वीकृति राशि 52.00 लाख, स्वीकृति दिनांक - 13 जुलाई 2020 एवं अवधि 3 वर्ष की थी, जिसकी एजेंसी जय अम्बे स्व सहायता समूह मौहरी को बनाई गई थी जिसमें पहले वर्ष 125000 पौधे, दूसरे वर्ष 25000 पौधे, तीसरे वर्ष 25000 पौधे, कुल मिलाकर 175000 पौधो का प्लांट तैयार किए जाने का स्टीमेट बनाया गया था। किंतु जय अम्बे स्व सहायता समूह के द्वारा कुल कितना पौधा प्लांट किया गया, कितना पौधा विक्रय किया गया, कितना पौधा शेष बचे हैं इसका कोई हिसाब किताब नहीं है। इसमें समूह के संचालक भैया लाल राठौर के द्वारा अपने घर वालों के नाम से ही लाखों का फर्जी मस्टर निकाल करके और लगातार भुगतान कराया जा रहा है। इसमें सबसे मजेदार बात तो यह है कि इस कार्य की अवधि भी सात महीना पहले ही पूर्ण हो चुकी है। उसके बाद भी फर्जी मस्टर रोल से मजदूरी एवं सामग्री का भुगतान लगातार हो रहा है। इतनी बड़ी मेहरबानी है यह समझ से परे है लेकिन अब देखना ये होगा कि शासन, प्रशासन क्या कदम उठाती है। क्या स्वसहायता समूह के संचालक भैया लाल राठौर को किसी का भी डर नहीं है। लेकिन यह निश्चित है कि यदि इसकी जांच की जाए तो इसमें कई लाखों का फर्जी भुगतान सामने आ सकता है पूरे मामले की उच्च स्तरीय जांच की मांग की गई है।

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