न्यू जोन पावर प्रोजेक्ट एवं टोरंट पॉवर ने रक्सा–कोलमी क्षेत्र में विकास व रोजगार की दी नई दिशा
न्यू जोन पावर प्रोजेक्ट एवं टोरंट पॉवर ने रक्सा–कोलमी क्षेत्र में विकास व रोजगार की दी नई दिशा
अनूपपुर
क्षेत्र में न्यू जोन पावर प्रोजेक्ट एवं टोरंट पॉवर की गतिविधियाँ आगे बढ़ने के साथ विकास और रोजगार की संभावनाओं को लेकर स्थानीय लोगों के बीच उत्साह और भरोसा बढ़ रहा है। लंबे समय से रूकी हुई यह परियोजना अब सक्रिय होने की ओर बढ़ती दिखाई दे रही है, जिससे ग्रामीणों और युवाओं में नए अवसरों की उम्मीद मजबूत हुई है। इस परियोजना के पूरा होने पर रक्सा–कोलमी क्षेत्र औद्योगिक मानचित्र पर महत्वपूर्ण स्थान प्राप्त कर सकता है।
स्थानीय निवासियों का मानना है कि पावर प्लांट के संचालन से बिजली उत्पादन क्षमता बढ़ने के साथ क्षेत्र में आर्थिक ढांचा भी सुदृढ़ होगा। व्यापार, परिवहन सेवाएँ, बाजार, आवागमन, खान–पान, होटल–लॉज और अन्य व्यावसायिक गतिविधियों के विस्तार से प्रत्यक्ष एवं परोक्ष दोनों प्रकार के रोजगार में उल्लेखनीय वृद्धि की संभावना है। ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में दैनिक जीवन की सुविधाओं का स्तर भी बेहतर होने की उम्मीद है।
परियोजना से जुड़े विभिन्न चरणों निर्माण, संचालन और सपोर्ट सेवाओं में रोजगार के अवसर उत्पन्न होने की संभावना को लेकर युवाओं और प्रभावित परिवारों में उत्साह है। तकनीकी विशेषज्ञ, मशीन ऑपरेटर, आईटीआई/डिप्लोमा धारक, सुरक्षा, परिवहन, प्रशासनिक एवं अन्य सहायक सेवाओं में बड़े पैमाने पर नियुक्तियों की उम्मीद है। स्थानीय युवाओं और निवासियों को प्राथमिकता मिलने की संभावना के कारण क्षेत्र में विश्वास और सकारात्मक माहौल बन रहा है।
आर्थिक गतिविधियों में तेज़ी के साथ संपत्ति के मूल्य में भी बढ़ोतरी की उम्मीद है। कमरों, मकानों और दुकानों को किराए पर उपलब्ध कराने वाले परिवारों को अतिरिक्त आय के अवसर मिल सकते हैं। व्यवसायियों एवं उद्यमियों के लिए भी यह परियोजना नई संभावनाएँ लेकर आ सकती है।
स्थानीय लोगों का मत है कि बड़े उद्योग की स्थापना के साथ अनेक छोटे और मध्यम व्यवसाय स्वतः विकसित होते हैं, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को स्थायी मजबूती मिलती है। न्यू जोन पावर प्रोजेक्ट एवं टोरंट पॉवर के सक्रिय होने से क्षेत्र में स्थायी रोजगार, निवेश तथा आर्थिक उन्नति का नया अध्याय शुरू हो सकता है।
रक्सा–कोलमी क्षेत्र के लोग इस परियोजना को केवल औद्योगिक प्रगति से नहीं, बल्कि आने वाली पीढ़ियों के सुरक्षित भविष्य, आर्थिक स्थिरता और सामाजिक विकास से भी जोड़कर देख रहे हैं।

